-अभियान की हकीकत जानी सीएमओ अमावां ब्लाक में किया भ्रमण
रायबरेली। रायबरेली सहित प्रदेश के 15 जनपदों में 100 दिवसीय सघन टी बी उन्मूलन अभियान का शुभारंभ सात दिसंबर को हुआ था। इसी क्रम में मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ नवीन चंद्रा विकासखंड अमावां पहुंचे और इस अभियान की हकीकत जानी। उन्होंने सीएचसी पर लैब सहित अभियान की अन्य गतिविधियों का जायजा लिया।
मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने कहा कि अभियान बहुत ही महत्वपूर्ण है। प्रधानमंत्री ने साल 2025 में क्षय उन्मूलन का लक्ष्य रखा है। जिसमें कुछ ही समय बचा है। इस अभियान की गंभीरता को समझें और सफल बनाने के लिए कमर कसें तथा कोई कसर न छोड़ें।
जिला क्षय रोग अधिकारी डॉ अनुपम सिंह ने बताया कि 100 दिवसीय इस अभियान में 60 साल के ऊपर के मरीजों, जिनको डायबिटीज और लो बॉडी मास इंडेक्स (बीएमआई) है व सामूहिक रूप से रह रहे लोगों की स्क्रीन की जा रही है और जिसमे भी टीबी के संभावित लक्षण दिखते हैं , उसी दिन उसके बलगम की ट्रनॉट मशीन द्वारा जांच की जा रही है।
जिला स्वास्थ्य शिक्षा एवं सूचना अधिकारी डी.एस.अस्थाना ने कहा कि अभियान का एक महत्वपूर्ण पक्ष है टीबी रोग के लक्षणों के बारे में समुदाय में ज्यादा से ज्यादा प्रचार करना जिससे कि लोग स्वयं से इलाज के लिए आयें। इसके साथ ही लोगों को यह भी बताना कि टीबी लाइलाज बीमारी नहीं है। नियमित दवाओं और पौष्टिक भोजन के सेवन से यह पूरी तरह ठीक हो जाती है। सीएचसी अधीक्षक डॉ रोहित कटियार ने बताया टी०बी० की जांच और इलाज बिल्कुल मुफ्त है।
वरिष्ठ उपचार पर्यवेक्षक करुणा शंकर मिश्र बताया कि इस कार्यक्रम का उद्देश्य है कि कोई भी घर ना छूटे। घर- घर जाकर लक्षण पता कर रहे है। लक्षण पाए जाने पर बलगम कलेक्ट कर रहे हैं. जब हर घर की स्क्रीनिंग करेंगे तभी लक्ष्य पूरा कर पाएंगे।
इस मौके पर स्वयंसेवी संस्था विश्वास संस्थान द्वारा 11 टी०बी० मरीजों को गोद लिया गया और उन्हें पोषण पोटली दी गयी।
इस मौके पर स्वास्थ्य कर्मचारी डॉ अभिजीत सिंह, डॉ आकांक्षा, डॉ सुनील सिंह, प्रमिला, अजय सहित अन्य कर्मचारी मौजूद रहे।